Azaad-bharat News/प्रयागराज : प्रयागराज में संगम पर मौनी अमावस्या के मौके पर गंगा में पवित्र स्नान के लिए उमड़ी भीड़ के कारण भगदड़ मच गई. कई लोगों के मारे जाने की भी खबर है. इसके कारण अमृत स्नान रद्द कर दिया गया है. लोगों को अफवाहों पर ध्यान न देने की हिदायत दी गई है.
अधिकारियों ने बताया कि महाकुंभ के दौरान संगम पर “भगदड़ जैसी” स्थिति पैदा हो गई क्योंकि मौनी अमावस्या पर बड़ी संख्या में तीर्थयात्री पवित्र स्नान के लिए उमड़ पड़े. घटना के मद्देनजर अखाड़ों ने मौनी अमावस्या के लिए अपने पारंपरिक ‘अमृत स्नान’ को रद्द कर दिया.
मेले के लिए विशेष कार्य अधिकारी आकांक्षा राणा ने कहा, “संगम में एक अवरोधक टूटने के बाद कुछ लोग घायल हो गए हैं और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है. हमें अभी तक घायलों की सही संख्या नहीं मिली है”. मौनी अमावस्या पर अमृत स्नान महाकुंभ का सबसे महत्वपूर्ण अनुष्ठान है और इसमें लगभग 10 करोड़ तीर्थयात्रियों के आने की उम्मीद है.
प्रयागराज महाकुंभ में भगदड़ मचने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से हालात की जानकारी ली है और तत्काल मदद के निर्देश दिए हैं. इसके बाद केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने भी सीएम योगी से बात कर हालात का जायजा लिया. उन्होंने केंद्र से हरसंभव मदद का आश्वासन दिया.
महाकुंभ में भगदड़ के बाद CM योगी ने श्रद्धालुओं से प्रशासन के निर्देशों के पालन की अपील की है. सीएम योगी ने अपील की है कि जिस घाट के समीप हैं वहीं स्नान कर लें. संगम नोज की तरफ जाने का प्रयास न करें. किसी भी अफवाह पर ध्यान न दें.
सांकेतिक अमृत स्नान होगा
प्रयागराज में महाकुंभ का दूसरा अमृत स्नान आज जारी है. मौनी अमावस्या पर संगम में डुबकी लगाने के लिए भोर में अखाड़ों के साधु-संत संगम के लिए निकले थे. भगदड़ की घटना और संगम पर हालात बेकाबू होने के बाद प्रशासन ने अखाड़ों से अपील की कि स्नान के लिए न जाएं. इसके बाद अखाड़े के साधु-संत शिविर में लौट आए.
घटना के कारण अखाड़ों ने अमृत स्नान टाल दिया. अब सुबह की जगह दिन में भीड़ कम होने पर अखाड़े स्न्नान करेंगे. सुबह पांच बजे श्री महानिर्वाणी और अटल अखाड़ा को अमृत स्नान करना था. इसके बाद निरंजनी और आनंद अखाड़ा स्नान करते. फिर जूना, अग्नि, आवाहन और किन्नर अखाड़ा के स्नान का समय था. इनके बाद वैष्णव संप्रदाय के दिगंबर अनी, निर्मोही अनी और निर्वाणी अनी स्नान करते. अंत में निर्मल अखाड़ा को अमृत स्नान करना था.
अखाड़ा परिषद का बड़ा फैसला- शोभायात्रा नहीं निकालेंगे संत. भीड़ कम होने पर 13 अखाड़े करेंगे अमृत स्नान. रथ और घोड़े-हाथी नहीं जाएंगे.
सेना के डॉक्टरों की भी मदद ली जा रही है. जरूरत पड़ने पर घायलों को एयर एंबुलेंस से दूसरी जगह भेजा जा सकता है.